78 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक का होगा उत्पादन, गेहूं की नई किस्म से किसानों की आय में होगी वृद्धि
भारतीय गेहूं एवं जौ अनुसंधान संस्थान, करनाल द्वारा विकसित गेहूं की नई किस्म ‘करण आदित्य डीबीडब्ल्यू 332’ किसानों के लिए एक बड़ी उपलब्धि है। इस किस्म से 78 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक उत्पादन प्राप्त किया जा सकता है, जो अन्य किस्मों की तुलना में अधिक है।
इस किस्म की विशेषताएं:
– औसत उपज 78.3 क्विंटल प्रति हेक्टेयर
– अधिकतम उपज क्षमता 83 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक
– 97 सेमी की ऊंचाई
– 46 ग्राम का हजार दाने का वजन
– विभिन्न प्रकार की मिट्टी और जलवायु में अच्छी पैदावार
– अधिक उर्वरकों और वृद्धि नियंत्रकों के प्रति अनुकूलता
– 101 दिन में बाली निकलना और 156 दिन में पककर तैयार होना
– पीला और भूरा रतुआ जैसी बीमारियों के प्रति प्रतिरोधी
उत्तर पश्चिमी मैदानी क्षेत्रों में सिंचित दशाओं में अगेती बुवाई के लिए अनुशंसित की गई है यह किस्म। किसानों को औसतन 31.32 क्विंटल प्रति एकड़ और अधिकतम 33.20 क्विंटल प्रति एकड़ तक उपज देने की क्षमता रखती है।
किसान इस किस्म की बुवाई 20 अक्टूबर से 5 नवंबर के बीच कर सकते हैं। बीज उपचार के लिए वीटावैक्स का उपयोग करना जरूरी है। सामान्यतया, उच्च उर्वरकता वाली भूमि में नाइट्रोजन 150 किलोग्राम, फास्फोरस 60 किलोग्राम और पोटाश 40 किलोग्राम प्रति हेक्टेयर की मात्रा पर्याप्त मानी जाती है। Read More Artical