हिम अकादमी पब्लिक स्कूल में भारतीय शास्त्रीय कला और सांस्कृतिक विरासत का उत्सव, कत्थकली प्रदर्शन का आयोजन
हमीरपुर, 19 नवंबर 2024: हिम अकादमी पब्लिक स्कूल, विकास नगर में आज SPIC MACAY
(सोसाइटी फॉर द प्रमोशन ऑफ इंडियन क्लासिकल म्यूजिक एंड कल्चर अमंग यूथ) के तत्वावधान में
भारतीय शास्त्रीय कला और संस्कृति को प्रोत्साहित करने के लिए एक विशेष कार्यक्रम आयोजित
किया गया। इस अवसर पर प्रख्यात कत्थकली कलाकार अडवोकेट रंजीनी सुरेश और उनकी मंडली ने
अपने अद्भुत प्रदर्शन से दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथियों ने दीप
प्रज्वलित कर किया। इस आयोजन में कत्थकली नृत्य की विविध कलाओं और मुद्राओं का प्रदर्शन
किया गया, जो भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को जीवंत रूप में प्रस्तुत करता है। कलाकारों
ने अपनी हाव-भाव और भंगिमाओं के माध्यम से भारतीय शास्त्रीय नृत्य की सूक्ष्मताओं को
प्रभावशाली ढंग से प्रस्तुत किया। इस कार्यक्रम में विद्यालय के चेयरपर्सन प्रोफेसर आर.सी.
लखनपाल, वाइस चेयरपर्सन श्रीमती चंद्रप्रभा लखनपाल, अकादमिक प्रधानाचार्या डॉ. हिमांशु शर्मा,
प्रधानाचार्या इंजीनियर श्रीमती नैना लखनपाल, निदेशक इंजीनियर श्री पंकज लखनपाल, हीरानगर
प्रधानाचार्या श्रीमती शशि बाला, उपप्रधानाचार्य श्री अश्विनी कुमार, विद्यालय समन्वयक श्रीमती कंचन
लखनपाल, श्रीमती मनीषा मारवाह और श्रीमती विनीता गुप्ता सहित वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।
अपने भाषण में प्रोफेसर आर.सी. लखनपाल ने कहा,;इस प्रकार के सांस्कृतिक आयोजन हमारी युवा
पीढ़ी को भारतीय कला और संस्कृति से जोड़ने का एक महत्वपूर्ण माध्यम हैं। हिम अकादमी पब्लिक
स्कूल सदैव शिक्षा के साथ-साथ सांस्कृतिक और नैतिक मूल्यों को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध रहा
है।
कत्थकली की इस शानदार प्रस्तुति ने न केवल भारतीय कला की विविधता और गहराई को उजागर
किया, बल्कि युवा पीढ़ी को अपनी परंपराओं और जड़ों से जोड़ने का एक प्रयास भी किया। उपस्थित
दर्शकों और छात्रों ने इस कार्यक्रम का भरपूर आनंद लिया और इसे प्रेरणादायक बताया। कार्यक्रम को
सफल बनाने में श्रीमती शैली ठाकुर और श्रीमती सोनिका शर्मा ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
यह आयोजन न केवल शास्त्रीय कला को प्रोत्साहन देने का प्रयास था, बल्कि भारतीय संस्कृति की
समृद्ध परंपराओं के प्रति जागरूकता बढ़ाने और छात्रों के नैतिक और सांस्कृतिक विकास में योगदान
देने का एक अनूठा कदम भी था।