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क्या आपने भी घर में रखा है कैश तो हो जाएँ सावधान , हो सकती है जेल , पढ़ें पूरी खबर।

क्या आपने भी घर में रखा है कैश तो हो जाएँ सावधान , हो सकती है जेल , पढ़ें पूरी खबर।

भारत में नकद रखने की कोई विशेष सीमा नहीं है, लेकिन यह सुनिश्चित करना जरूरी है कि नकदी का स्रोत कानूनी और वैध हो। यदि कोई व्यक्ति अपने घर में नकदी रखता है, तो यह तब तक कानूनी है जब तक उसका स्रोत सही है, यानी वह धन उस व्यक्ति की घोषित आय के तहत आता है।

क्या घर में नकदी रखना कानूनी है?

भारत में आयकर कानूनों के अनुसार, घर में नकदी रखना खुद में अवैध नहीं है। हालांकि, यदि आपके पास बड़ी राशि नकद में है, तो यह साबित करना जरूरी है कि यह धन आपके वैध आय के स्रोत से आया है। उदाहरण के लिए, अगर आप किसी व्यवसाय के मालिक हैं और आपके पास बड़ी रकम नकद में है, तो आपको इसे अपने वित्तीय रिकॉर्ड में सही तरीके से दिखाना होगा। यदि आपके पास ऐसा धन है और आप इसका स्रोत नहीं बता पाते हैं, तो यह अघोषित आय मानी जाएगी, जिस पर भारी कर और जुर्माना लगाया जा सकता है।

बेहिसाब नकदी और टैक्स अधिनियम

आयकर कानून में सेक्शन 68 से लेकर 69B तक के प्रावधान हैं, जो यह कहते हैं कि अगर किसी व्यक्ति के पास बेहिसाब संपत्ति है, तो आयकर विभाग उसे अपने स्रोत के बारे में पूछ सकता है। अगर कोई व्यक्ति अपनी आय का स्पष्ट स्रोत नहीं बता पाता, तो वह अपनी संपत्ति को अघोषित आय मान सकता है, जिस पर कर और जुर्माना लगाया जाएगा। विशेषज्ञों के अनुसार, अघोषित आय पर कर की दर 78% तक हो सकती है, जिसमें पेनल्टी भी शामिल होगी।

व्यापारिक मामलों में नकदी रखना

व्यवसायों के लिए नकदी रखने के नियम और भी सख्त होते हैं। अगर आप व्यवसाय करते हैं, तो आपको यह सुनिश्चित करना होता है कि आपके पास जो नकद है, वह आपके बैंक खातों और कैश बुक में दर्ज की गई राशि से मेल खाता हो। यदि नकद का विवरण आपके वित्तीय रिकॉर्ड से मेल नहीं खाता है, तो आयकर विभाग आपसे इसके स्रोत के बारे में सवाल पूछ सकता है।

उपहार के रूप में नकद लेना

भारत में यदि आप किसी से दो लाख रुपये से अधिक नकद उपहार के रूप में प्राप्त करते हैं, तो यह आयकर नियमों का उल्लंघन माना जाएगा। ऐसे मामले में जुर्माना और टैक्स लगाया जा सकता है।

नकद लेन-देन और RBI नियम

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) और आयकर विभाग ने नकद लेन-देन को नियंत्रित करने के लिए कई कदम उठाए हैं। यह कदम मुख्य रूप से कर चोरी और काले धन को रोकने के लिए उठाए गए हैं। सरकार चाहती है कि लोग डिजिटल भुगतान की ओर बढ़ें ताकि पारदर्शिता बढ़े और कर चोरी की संभावना कम हो।

निष्कर्ष:

  • भारत में घर में नकदी रखने की कोई कानूनी सीमा नहीं है, लेकिन उसका स्रोत वैध होना चाहिए।
  • बेहिसाब नकदी के मामले में आपको आयकर विभाग को एक विस्तृत विवरण देना होगा
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